Indus Water Treaty: सिंधु जल समझौता रद्द होने से घुटनों पर आया पाकिस्तान, भारत के सामने गिड़गिड़ाया

खबर सार :-
Indus Water Treaty: पहलगाम आतंकी हमले (India Pakistan Tension) के बाद 'सिंधु जल संधि' रद्द होने पर पाकिस्तान घुटनों पर आ गया है।  पाकिस्तान में भविष्य में आने वाले संकट को देखते शाहबाज सरकार ने भारत से अपने फैसले पर पुनर्विचार करने की अपील की है।

खबर विस्तर : -

Indus Water Treaty: पहलगाम आतंकी हमले (India Pakistan Tension) के बाद 'सिंधु जल संधि' रद्द होने पर पाकिस्तान घुटनों पर आ गया है।  पाकिस्तान में भविष्य में आने वाले संकट को देखते शाहबाज सरकार ने भारत से अपने फैसले पर पुनर्विचार करने की अपील की है। पाकिस्तान के जल संसाधन मंत्रालय ने इस संबंध में भारत के जल शक्ति मंत्रालय को पत्र लिखकर कहा कि उनका यह कदम पाकिस्तान में गंभीर जलसंकट पैदा कर सकता है। हालांकि भारत ने पाकिस्तान की इस अपील को साफ तौर पर नकार दिया है।

Indus Water Treaty: पाकिस्तान ने भारत को लिखा पत्र

सूत्रों के मुताबिक पाकिस्तान के जल संसाधन सचिव सैयद अली मुर्तजा ने भारत के जल शक्ति संसाधन सचिव देबाश्री मुखर्जी को पत्र लिखा है। इसमें उन्होंने फैसले पर पुनर्विचार करने की अपील की है। पत्र में कहा गया है कि पाकिस्तान इस मुद्दे पर बातचीत के लिए तैयार है। फिलहाल पाकिस्तान की ओर से लिखा गया यह पत्र नियमानुसार विदेश मंत्रालय को भेजा गया है। सूत्रों की माने तो पाकिस्तान की गुहार से भारत को कोई हमदर्दी नहीं।

India Pakistan Tension: खून और पानी एक साथ नहीं बह सकते

दरअसल पीएम मोदी ने राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में कहा था कि खून और पानी एक साथ नहीं बह सकते। बताया जा रहा है कि भारत अब तीनों नदियों के पानी को अपने लिए इस्तेमाल करने की योजना बना रहा है। इस पर तुरंत काम शुरू कर दिया गया है। इसके अलावा मध्यम अवधि और दीर्घकालिक योजनाओं को भी अंतिम रूप दिया जा रहा है। 

Indus Water Treaty: सिंधु जल संधि क्या है ?

बता दें कि सिंधु जल समझौता (सिंधु जल संधि)  पर सितंबर 1960 में तत्कालीन भारत के प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू और पाकिस्तानी सैन्य जनरल अयूब खान के बीच कराची में हस्ताक्षर किए गए थे। सिंधु जल संधि के तहत भारत को सिंधु और उसकी सहायक नदियों से 19.5 प्रतिशत पानी मिलता है। जबकि पाकिस्तान को करीब 80 प्रतिशत पानी मिलता है। भारत अपने हिस्से के करीब 90 प्रतिशत पानी का ही इस्तेमाल करता है। यह समझौता भारत-पाक के बीच 1960 में हुआ था, जिसमें सिंधु घाटी को 6 नदियों में बांटा गया था। 

समझौते के तहत भारत को पूर्वी नदियां सतलुज, व्यास और रावी  पर अधिकार है। जबकि पश्चिमी नदियों सिंधु, झेलम और चिनाब को पाकिस्तान को दिया गया। इस समझौते की मध्यस्थता विश्व बैंक ने की थी। इस समझौते के तहत दोनों देशों के बीच हर साल सिंधु जल आयोग की बैठक अनिवार्य है।

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