Janmashtami 2025: नंद घर आनंद भयो...के जयकारों के साथ घर-घर जन्मे कान्हा, मंदिरों में उमड़ा आस्था का जनसैलाब

खबर सार :-
Janmashtami Celebration: देश भर में श्री कृष्ण जन्माष्टमी का पर्व धूमधाम से मनाया गया। इस दौरान भगवान कृष्ण के मंदिरों में भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी। मथुरा में लाखों श्रद्धालु उमड़े। सुबह से लेकर रात तक श्रद्धालुओं के आने का क्रम जारी है।

Janmashtami 2025: नंद घर आनंद भयो...के जयकारों के साथ घर-घर जन्मे कान्हा, मंदिरों में उमड़ा आस्था का जनसैलाब
खबर विस्तार : -

Janmashtami 2025: भगवान कृष्ण के जन्मोत्सव के साथ ही देशभर के मंदिरों, घरों और सार्वजनिक स्थलों पर उत्साह और भक्ति का माहौल देखने को मिला। रात के 12 बजते ही भगवान श्रीकृष्ण के प्रकट होने के साथ ही उनका अभिषेक शुरू हो गया। लोगों ने अपने घरों में भी भगवान कृष्ण की पूजा-अर्चना की। मथुरा के वृंदावन में लाखों श्रद्धालु उमड़े। वहीं सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे और हर तरफ सैन्य छावनी जैसा नजारा देखने को मिला।

Janmashtami 2025:  घरों में गाए गए मंगल गीत 

भगवान श्रीकृष्ण के प्रकट होने की खुशी में भक्त नाचते नजर आए, वहीं घरों में मंगल गीत गाए गए। मथुरा, वृंदावन, द्वारका और उज्जैन जैसे प्रमुख तीर्थ स्थलों से लेकर छोटे-छोटे गांवों तक, भक्त श्री कृष्ण की भक्ति में डूबे हुए हैं। मंदिरों में भगवान के दर्शन के लिए भक्तों की लंबी कतारें लग गई। मथुरा, वृंदावन, द्वारका और अन्य प्रमुख तीर्थ स्थलों पर भगवान के दर्शन के लिए लाखों भक्त उमड़ पड़े हैं और कृष्ण कन्हैया के जयकारे लगा रहे हैं। श्रीकृष्ण जन्मभूमि मंदिर को फूलों, रोशनी और रंगोली से सजाया गया था। मध्यरात्रि में भगवान के जन्म के समय मंदिरों में घंटियों की ध्वनि और भक्तिमय भजनों ने वातावरण को और भी भक्तिमय बना दिया।

Janmashtami 2025:  धूमधाम से मनाई गई श्रीकृष्ण जन्माष्टमी

दिल्ली के ईस्ट ऑफ कैलाश स्थित इस्कॉन मंदिर में भी जन्माष्टमी धूमधाम से मनाई गई। मंदिर के पट खुलते ही भगवान कृष्ण और राधा रानी की एक झलक पाने के लिए भक्तों की भीड़ उमड़ पड़ी। मंदिर को फूलों और रंग-बिरंगी रोशनियों से सजाया गया था, जिससे उत्सव का माहौल और भी भव्य हो गया। पटना के इस्कॉन मंदिर में भी जन्माष्टमी का उत्सव बड़े उत्साह के साथ मनाया गया। मंदिर में भगवान कृष्ण के बाल स्वरूप की विशेष पूजा-अर्चना की गई। भक्तों ने माखन-मिश्री का भोग लगाया और भजन-कीर्तन में डूबकर उत्सव का आनंद लिया। मंदिर प्रशासन ने बताया कि दर्शन के लिए हजारों की संख्या में भक्त पहुंचे और रात में होने वाली विशेष आरती के लिए उत्साह और बढ़ गया।

कृष्ण और राधा रानी की गई विशेष पूजा-अर्चना 

गुजरात के द्वारका स्थित श्री द्वारकाधीश मंदिर में भी जन्माष्टमी का विशेष आयोजन किया गया। मंदिर को फूलों और दीयों से सजाया गया था। भक्तों ने भगवान द्वारकाधीश के दर्शन किए। द्वारका में जन्माष्टमी का उत्सव विशेष रूप से महत्वपूर्ण माना जाता है, क्योंकि यह स्थान भगवान कृष्ण की कर्मभूमि से जुड़ा है। पश्चिम बंगाल के कोलकाता स्थित इस्कॉन मंदिर में भी जन्माष्टमी मनाई गई। मंदिर में भगवान कृष्ण और राधा रानी की विशेष पूजा-अर्चना की गई।

लखनऊ के खाटू श्याम मंदिर में काटा गया 108 किलों का केक

लखनऊ में जन्माष्टमी का पर्व धूमधाम से मनाया गया। शहर के विभिन्न मंदिरों में भगवान कृष्ण की विशेष पूजा-अर्चना और झांकियाँ सजाई गईं। भक्तों ने भजन-कीर्तन में भाग लिया और रात 12 बजे भगवान कृष्ण का जन्मोत्सव मनाया गया। राजधानी लखनऊ के डालीगंज स्थित श्रीमाधव मंदिर में श्रीकृष्ण प्रकटोत्सव के अवसर पर फूलों से भव्य सजावट की गई। इस अवसर पर 56 प्रकार के भोग लगाए गए। वहीं, बीरबल साहनी मार्ग स्थित श्री श्याम मंदिर में भी श्रीकृष्ण प्रकटोत्सव धूमधाम से मनाया गया। यहां भगवान कृष्ण के जन्मोत्सव के अवसर पर 108 किलो का मिल्क केक काटा गया। इसके अलावा, लखनऊ के सुशांत गोल्फ सिटी स्थित इस्कॉन मंदिर में भी कान्हा का जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया गया। इस दौरान कई कार्यक्रम आयोजित किए गए।

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