मुंबई: भारतीय शेयर बाजार ने सोमवार को विदेशी निवेशकों की जबरदस्त वापसी और सकारात्मक आर्थिक संकेतकों के चलते जोरदार तेजी दिखाई। प्रमुख सूचकांक सेंसेक्स 746 अंक की छलांग लगाकर 80,604.08 पर बंद हुआ, जबकि निफ्टी भी 221.75 अंक चढ़कर 24,585.05 के नए स्तर पर पहुंच गया। यह तेजी न सिर्फ एफआईआई की खरीदारी के कारण आई, बल्कि सार्वजनिक बैंकों के मजबूत तिमाही नतीजे, म्यूचुअल फंडों में भारी निवेश और वैश्विक बाजारों से मिले सकारात्मक संकेत भी इसके पीछे रहे।
बीते कुछ हफ्तों में कमजोर वैश्विक संकेतों और घरेलू राजनीतिक अस्थिरता के कारण विदेशी निवेशकों ने भारतीय शेयर बाजार से दूरी बना ली थी। लेकिन अब एफआईआई की फिर से खरीदारी में रुचि दिखने लगी है। सोमवार को हुई भारी खरीदारी इसका स्पष्ट संकेत थी। बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि यह वापसी निवेशकों के भरोसे की वापसी को दर्शाती है, जिससे आगामी दिनों में और भी तेजी देखने को मिल सकती है।
एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स इन इंडिया (AMFI) द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों ने निवेशकों के उत्साह को और बढ़ा दिया। जुलाई में इक्विटी-ओरिएंटेड म्यूचुअल फंड्स में 42,702 करोड़ रुपये का शुद्ध निवेश दर्ज किया गया, जो जून के मुकाबले 81 प्रतिशत अधिक है। यह दर्शाता है कि खुदरा निवेशक भी बाजार में भरोसा जता रहे हैं। जुलाई के अंत तक म्यूचुअल फंड उद्योग का एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM) 75.36 लाख करोड़ रुपये पहुंच गया है, जो एक नया रिकॉर्ड है।
बाजार की तेजी में बैंकिंग, ऑटो और इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियों ने प्रमुख भूमिका निभाई। एसबीआई, एक्सिस बैंक, एलएंडटी, महिंद्रा एंड महिंद्रा, टाटा मोटर्स जैसे शेयरों में अच्छी खासी तेजी दर्ज की गई। खासतौर पर सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के मजबूत तिमाही परिणामों ने निवेशकों को आकर्षित किया। निफ्टी बैंक 505 अंक और निफ्टी ऑटो 249 अंक की बढ़त के साथ बंद हुए।
अमेरिका और रूस के बीच 15 अगस्त को होने वाली शिखर बैठक की खबर ने वैश्विक बाजारों में स्थिरता का माहौल बनाया है। विशेषज्ञों का मानना है कि इस बैठक से रूस-यूक्रेन युद्ध के समाधान की संभावनाएं बढ़ सकती हैं, जिससे निवेशकों की धारणा सुधरी है। इसका असर कमोडिटी बाजारों पर भी देखा गया, जहां सोने की कीमतों में गिरावट दर्ज की गई। कॉमेक्स पर सोना 3,400 डॉलर से गिरकर 3,355 डॉलर और एमसीएक्स पर 1,200 रुपये की गिरावट के साथ 1,00,550 रुपये पर आ गया।
सिर्फ लार्ज कैप शेयर ही नहीं, बल्कि मिडकैप और स्मॉलकैप शेयरों ने भी सोमवार को दमखम दिखाया। निफ्टी मिडकैप 100 में 476 अंक और स्मॉलकैप 100 में 63 अंक की तेजी रही। यह संकेत देता है कि बाजार की तेजी व्यापक है और सिर्फ कुछ चुनिंदा शेयरों तक सीमित नहीं है।
एलकेपी सिक्योरिटीज के जतीन त्रिवेदी के मुताबिक, बाजार की नजर अब अमेरिकी महंगाई दर (CPI और Core CPI) के आंकड़ों पर होगी, जो इस हफ्ते आने हैं। ये आंकड़े वैश्विक बाजारों की दिशा तय कर सकते हैं। सोने की कीमतों में और उतार-चढ़ाव देखने को मिल सकता है, जो निवेशकों के मूड को प्रभावित कर सकता है।
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