नई दिल्ली: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जीएसटी की नई दरों के बारे में जानकारी दी है। उन्होंने घोषणा की कि जीएसटी परिषद ने पॉलिसीधारकों के लिए एक महत्वपूर्ण राहत दी है। अब व्यक्तिगत जीवन बीमा और स्वास्थ्य बीमा पॉलिसियों पर जीएसटी समाप्त कर दिया गया है। इससे इन बीमा उत्पादों के प्रीमियम सस्ते हो जाएंगे और यह बदलाव 22 सितंबर, नवरात्रि के पहले दिन से प्रभावी होगा।
जीएसटी की दरों में बदलाव संबंधी निर्णय के तहत, सभी प्रकार की व्यक्तिगत जीवन बीमा पॉलिसियों—जिनमें टर्म लाइफ, यूलिप (यूनिट-लिंक्ड इंश्योरेंस प्लान) और एंडोमेंट पॉलिसी शामिल हैं—और उनके पुनर्बीमा पर अब जीएसटी नहीं लगेगा। फिलहाल इन बीमा उत्पादों पर 18 प्रतिशत जीएसटी लगता था। वित्त मंत्री ने यह भी बताया कि यह निर्णय बीमा उत्पादों को अधिक किफायती बनाने के उद्देश्य से लिया गया है, जिससे आम आदमी के लिए बीमा पॉलिसी खरीदना आसान होगा।
सीतारमण ने बताया कि इस बदलाव के साथ, सभी व्यक्तिगत स्वास्थ्य बीमा पॉलिसियां, जिनमें फैमिली फ्लोटर और वरिष्ठ नागरिक योजनाएँ शामिल हैं, तथा उनके पुनर्बीमा पर भी जीएसटी छूट लागू होगी। उनका मानना है कि इस कदम से देशभर में बीमा कवरेज का विस्तार होगा और अधिक लोग स्वास्थ्य और जीवन बीमा योजनाओं का हिस्सा बनेंगे। वित्त मंत्री ने बताया कि बीमा पर जीएसटी खत्म करने से न सिर्फ प्रीमियम में कमी आएगी, बल्कि इससे देश में वित्तीय समावेशन को भी बढ़ावा मिलेगा।
इसके अलावा, जीएसटी परिषद ने स्वास्थ्य क्षेत्र में भी कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए हैं। 33 जीवन रक्षक दवाओं की जीएसटी दर को 12 प्रतिशत से घटाकर शून्य कर दिया गया है। कैंसर, दुर्लभ और दीर्घकालिक बीमारियों के इलाज में उपयोग होने वाली तीन महत्वपूर्ण दवाओं को भी जीएसटी मुक्त कर दिया गया है। साथ ही, यूएचटी दूध, पनीर, और भारतीय रोटियों जैसे चपाती, पराठे, और रोटी पर भी अब कोई जीएसटी नहीं लगेगा।
वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण के अनुसार, नवीनतम दरें 22 सितंबर से पूरे देश में लागू होंगी, और इससे उपभोक्ताओं को स्पष्ट रूप से लाभ होगा। इस बदलाव के साथ सरकार का उद्देश्य है कि गरीब और मध्यवर्गीय परिवारों के लिए स्वास्थ्य और जीवन बीमा की पहुंच आसान हो, जिससे वे वित्तीय सुरक्षा और चिकित्सा सेवाओं का लाभ उठा सकें।
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