Hemant Khandelwal: हेमंत खंडेलवाल बने मध्य प्रदेश BJP के नए अध्यक्ष,  धर्मेंद्र प्रधान ने किया ऐलान

खबर सार :-
Hemant Khandelwal: मध्य प्रदेश में भारतीय जनता पार्टी ने नया कप्तान चुन लिया है। बैतूल से विधायक और पूर्व सांसद हेमंत खंडेलवाल को नया प्रदेश अध्यक्ष चुना गया है। हेमंत को एक विनम्र नेता के रूप में जाना जाता है जो पर्दे के पीछे रहकर कड़ी मेहनत करते हैं।

Hemant Khandelwal: हेमंत खंडेलवाल बने मध्य प्रदेश BJP के नए अध्यक्ष,  धर्मेंद्र प्रधान ने किया ऐलान
खबर विस्तार : -

Hemant Khandelwal: एमपी में भाजपा (BJP) को नया प्रदेश अध्यक्ष मिल गया है। बैतूल विधायक और पूर्व सांसद हेमंत खंडेलवाल को मध्य प्रदेश का नया अध्यक्ष बनाया गया है।  केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने खंडेलवाल के नाम का ऐलान किया। उनका निर्विरोध निर्वाचन हुआ है।  भाजपा की मध्य प्रदेश इकाई की कमान विष्णु दत्त शर्मा की जगह हेमंत खंडेलवाल को सौंपी गई है। खंडेलवाल के निर्वाचन पर पार्टी में जश्न का माहौल है और बधाई संदेशों का तांता लगा हुआ है। 

इस अवसर पर प्रदेश कार्यालय में आयोजित समारोह में केंद्रीय मंत्री व प्रदेश चुनाव प्रभारी धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि 70 के दशक में मध्य प्रदेश में जो सफर शुरू हुआ, वह आज भी जारी है। भाजपा संगठन जिस मुकाम पर पहुंचा है, उसके पीछे भाजपा के करोड़ों कार्यकर्ताओं की लगन और वैचारिक प्रतिबद्धता और कड़ी मेहनत है। उन्होंने आगे कहा कि अभी तक संगठन विष्णु दत्त शर्मा के नेतृत्व में चल रहा है और सरकार मोहन यादव के नेतृत्व में चल रही है।

Hemant Khandelwal का राजनीतिक सफर

 उत्तर प्रदेश के मथुरा में 3 सितंबर 1964 को जन्मे हेमंत खंडेलवाल पेशे से व्यवसायी है। अपने सांसद पिता की मौत के बाद चुनावी राजनीति में उतरे खंडेलवाल 2008 से 2009 तक लोकसभा सांसद और 2010 से 2013 तक भाजपा बैतूल जिला अध्यक्ष रह चुके हैं। करीब 60 वर्षीय खंडेलवाल 2013 में चौदहवीं विधानसभा के सदस्य चुने गए। इसके बाद 2014 से 2018 तक वे भाजपा की प्रदेश इकाई के कोषाध्यक्ष रहे। वर्ष 2023 में वे दूसरी बार विधायक चुने गए। खंडेलवाल की पारिवारिक पृष्ठभूमि भाजपा से जुड़ी है। उनके पिता विजय खंडेलवाल भी लगातार चार बार बैतूल से भाजपा के सांसद रहे।

Hemant Khandelwal: सीएम मोहन यादव के बेहद करीबी

विनम्र और सरल छवि वाले खंडेलवाल संघ से जुड़े रहे हैं। उन्हें मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का बेहद करीबी माना जाता है। सरकार के अन्य वरिष्ठ मंत्रियों से भी उनकी अच्छी पटती है। माना जाता है कि खंडेलवाल पर्दे के पीछे रहकर काम करना पसंद करते हैं। सरकार और संगठन के बीच समन्वय बनाने की उनकी क्षमता के कारण भी उन्हें इस पद के लिए काफी योग्य माना जा रहा है।

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