UBS Upgrades: यूबीएस ने भारत को अपग्रेड कर 'अंडरवेट' से 'न्यूट्रल' कैटेगरी में डाला

खबर सार :-
ग्लोबल ब्रोकरेज फर्म यूबीएस ग्रुप एजी ने भारत को 'अंडरवेट' से अपग्रेड कर 'न्यूट्रल' कर दिया है।  फर्म की तरफ से अपग्रेडेशन की प्रक्रिया ऐसे समय में की गई है, जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से टैरिफ में बढ़ोत्तरी के कारण अंतर्राष्ट्रीय व्यापार अ

UBS Upgrades: यूबीएस ने भारत को अपग्रेड कर 'अंडरवेट' से 'न्यूट्रल' कैटेगरी में डाला
खबर विस्तार : -

नई दिल्लीः ग्लोबल ब्रोकरेज फर्म यूबीएस ग्रुप एजी ने भारत को 'अंडरवेट' से अपग्रेड कर 'न्यूट्रल' कर दिया है।  फर्म की तरफ से अपग्रेडेशन की प्रक्रिया ऐसे समय में की गई है, जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से टैरिफ में बढ़ोत्तरी के कारण अंतर्राष्ट्रीय व्यापार अनिश्चितता के दौर से गुजर रहा है। यूबीएस ने कहा कि भारत की घरेलू अर्थव्यवस्था मजबूत स्थिति में है। यहां प्रतिकूल परिस्थितियों में भी प्रति शेयर आय (ईपीएस) में बढ़त जारी है। कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट से भी देश की अर्थव्यवस्था को लाभ हो रहा है। भारतीय अर्थव्यवस्था के सकारात्मक पहलुओं में से एक यह है कि जमा वृद्धि में सुस्ती के बावजूद बैंकों द्वारा जमा दरों को कम करने की बढ़ती इच्छा और सरकार की ओर से खपत को बढ़ाने के लिए किए जा रहे उपाय शामिल हैं।

भारतीय बाजारों के प्रति वैश्विक ब्रोकरेज का रुख आशावादी

यूबीएस के रणनीतिकार सुनील तिरुमलाई ने गुरुवार 24 अप्रैल को दी गई जानकारी में कहा कि डिफेंसिव और घरेलू अर्थव्यवस्था पर केंद्रित शेयरों के प्रति बढ़ती प्राथमिकता के बीच वैश्विक ब्रोकरेज भारतीय बाजार के प्रति अधिक आशावादी हो रहे हैं। कंपनियों के सामान्य प्रदर्शन के मुकाबले वैल्यूएशन अभी भी महंगे लग रहे हैं, लेकिन भारत अपनी घरेलू केंद्रित अर्थव्यवस्था के कारण व्यापार अनिश्चितता के बीच काफी रक्षात्मक दिख रहा है। यही नहीं वैश्विक बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में कमी का लाभ भी देश को मिल रहा है। यूबीएस ने यह अपग्रेड ऐसे समय में किया गया है, जब वैश्विक निवेशक भारतीय एसेट्स को अपेक्षाकृत सुरक्षित निवेश के रूप में देख रहे हैं। घरेलू शेयर बाजार अमेरिकी टैरिफ वृद्धि की घोषणा के बाद लगे शुरुआती झटकों के बाद हुए नुकसान से तेजी से उबर रहे हैं। इसके अतिरिक्त, यूबीएस ने हांगकांग शेयर बाजार को डाउनग्रेड कर 'ओवरवेट' से 'न्यूट्रल' कर दिया गया है। इसकी वजह टैरिफ के कारण सेंटीमेंट का नकारात्मक होना और अमेरिका से होने वाली आय पर अधिक निर्भरता है।

ब्रोकरेज फर्म ने इंडोनेशिया को 'न्यूट्रल' से अपग्रेड कर 'ओवरवेट' की श्रेणी में रख दिया है। इसकी सबसे बड़ी वजह वैल्यूएशन का कोविड लो के करीब होना और सरकारी फंड्स से सहायता मिलना है। यूबीएस ने 2022 से भारत पर अंडरवेट रेटिंग रखी थी। पिछले साल अप्रैल में आय परिदृश्य और घरेलू निवेशकों की संभावित रूप से अधिक भागीदारी का हवाला देते हुए चीनी शेयरों को ओवरवेट में अपग्रेड किया था।
 

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