गुजरात में इंडियन ऑयल ने शुरू किया कच्चे तेल का उत्पादन

खबर सार :-
गुजरात के ज्योति-1 कुएं से कच्चे तेल का उत्पादन शुरू होना भारत की ऊर्जा सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण उपलब्धि है। इससे न केवल घरेलू तेल उत्पादन में बढ़ोतरी होगी, बल्कि अपस्ट्रीम सेक्टर में इंडियन ऑयल की भूमिका और मजबूत होगी। सरकार की ऊर्जा स्वतंत्रता और संसाधनों के अनुकूलन की दिशा में यह कदम अहम साबित होगा और भविष्य में देश की विदेशी निर्भरता कम करने में मदद करेगा।

गुजरात में इंडियन ऑयल ने शुरू किया कच्चे तेल का उत्पादन
खबर विस्तार : -

Crude oil Production: देश की ऊर्जा सुरक्षा और घरेलू तेल उत्पादन को मजबूत करने की दिशा में बड़ा कदम उठाते हुए इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी) ने गुजरात में ज्योति-1 तेल कुएं से उत्पादन शुरू कर दिया है। कंपनी ने सोमवार को घोषणा करते हुए बताया कि 14 नवंबर 2025 से ब्लॉक सीबी-ओएनएन-2005/9 स्थित आईयूवीएल साइट पर औपचारिक रूप से उत्पादन प्रारंभ किया गया है। यह पहल भारत के अपस्ट्रीम सेक्टर में राष्ट्रीय ऊर्जा महारत्न की उपस्थिति को और सुदृढ़ बनाती है।

केंद्रीय मंत्री पुरी ने बताया महत्वपूर्ण उपलब्धि

केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने इस उपलब्धि को “छोटी, लेकिन महत्वपूर्ण प्रगति” बताते हुए कहा कि यह भारत की ऊर्जा आत्मनिर्भरता की दिशा में एक मजबूत कदम है। उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर लिखते हुए कहा कि इंडियन ऑयल का यह कदम प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में ऊर्जा स्वतंत्रता के राष्ट्रीय लक्ष्य को और गति देता है। पुरी के अनुसार, यह शुरुआत देश के हाइड्रोकार्बन सेक्टर में अपस्ट्रीम क्षमताओं को नया आयाम देने की दिशा में महत्वपूर्ण मोड़ है।

मंत्रालय और डीजीएच के समन्वित प्रयासों का परिणाम

मंत्री पुरी ने बताया कि यह उपलब्धि पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय, हाइड्रोकार्बन महानिदेशालय (डीजीएच) और इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन के संयुक्त तथा समन्वित प्रयासों का परिणाम है। उन्होंने सभी संबंधित टीमों को बधाई देते हुए कहा कि इससे भारत की घरेलू उत्पादन क्षमता में बढ़ोतरी होगी और विदेशी निर्भरता कम करने में मदद मिलेगी।

ऊर्जा सुरक्षा को मजबूत करने पर सरकार का फोकस

सरकार लगातार ऊर्जा सुरक्षा और आपूर्ति विविधीकरण के लिए नई रणनीतियों पर काम कर रही है। हाल ही में केंद्रीय मंत्री ने यह भी बताया था कि भारत की सरकारी तेल कंपनियों ने अमेरिका से 2.2 मिलियन टन प्रति वर्ष (एमटीपीए) एलपीजी आयात का कॉन्ट्रैक्ट किया है। इससे देश की बढ़ती एलपीजी मांग को पूरा करने और घरेलू उपभोक्ताओं तक किफायती गैस पहुंचाने में सहायता मिलेगी। मंत्रालय का कहना है कि भारत विश्व के सबसे बड़े और तेजी से बढ़ते एलपीजी बाजारों में से एक है, और ऐसे निर्णय देश की ऊर्जा आपूर्ति श्रृंखला को और मजबूत करेंगे।

 

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