National Unity day: पीएम मोदी की ललकार, बोले-“ये लौहपुरुष सरदार पटेल का भारत है, सुरक्षा और सम्मान से कभी समझौता नहीं करेगा”

खबर सार :-
प्रधानमंत्री मोदी ने सरदार पटेल के आदर्शों को राष्ट्र की सर्वोच्च प्राथमिकता बताते हुए सुरक्षा, सम्मान और एकता पर कोई समझौता न करने का दृढ़ संकल्प व्यक्त किया। एकता दिवस पर दिया गया उनका संदेश राष्ट्रीय संकल्प को जगाने वाला रहा। सरकारें, नागरिक और संस्थाएँ मिलकर देश की अखंडता और सीमाओं की रक्षा सुनिश्चित करें — यही सच्ची श्रद्धांजलि और राष्ट्रनिर्माण का मार्ग सदैव है।

National Unity day: पीएम मोदी की ललकार, बोले-“ये लौहपुरुष सरदार पटेल का भारत है, सुरक्षा और सम्मान से कभी समझौता नहीं करेगा”
खबर विस्तार : -

National Unity Day: गुजरात के केवड़िया में सरदार वल्लभभाई पटेल की 150वीं जयंती के अवसर पर आयोजित भव्य कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सरदार पटेल को “लौहपुरुष” बताते हुए कहा कि उनका भारत सुरक्षा, सम्मान और एकता पर कभी समझौता नहीं करेगा। कार्यक्रम स्थल एकता नगर में जुटे हजारों लोगों को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा कि आज का पल गर्व और प्रेरणा से भरा हुआ है और देश को ऐसे कार्यों को बढ़ावा देना चाहिए जो एकता को मजबूत करें। उन्होंने यह भी जोर दिया कि एकता दिवस अब राष्ट्रीय महापर्व बन चुका है जिसे हर भारतीय उसी प्रकार महत्व दे।

इतिहास बदलने वाले निर्णयों का श्रेय सरदार पटेल को

पीएम मोदी ने अपने भाषण में सरदार पटेल के साहस और दूरदर्शिता का विशेष उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि स्वतंत्रता के बाद 562 रियासतों को एक सूत्र में पिरोना सरदार साहब की अदम्य इच्छा और कार्य शक्तियों का परिणाम था। मोदी ने सरदार पटेल के कथन को उद्धृत करते हुए बताया कि “इतिहास लिखने में समय नहीं खर्च करना चाहिए, हमें इतिहास बनाना चाहिए”। उनके मुताबिक पटेल ने जो नीतियाँ बनाईं और जो निर्णय लिए, उन्होंने नया इतिहास रचा और भारत की अखंडता सुनिश्चित की।

रन फॉर यूनिटी और राष्ट्रव्यापी उत्साह

प्रधानमंत्री ने बताया कि देशभर में चल रही ‘रन फॉर यूनिटी’ में करोड़ों नागरिकों का उत्साह दिख रहा है, जिससे नए भारत की संकल्प शक्ति साफ झलकती है। उन्होंने कहा कि जैसे 15 अगस्त और 26 जनवरी का राष्ट्रीय महत्व है, वैसे ही अब 31 अक्टूबर को एकता दिवस भी देश के लिए प्रेरणा और गर्व का दिवस बन गया है। हर नागरिक का कर्तव्य है कि वह उन बातों से दूर रहे जो देश की एकता को कमजोर करें — यही सच्ची श्रद्धांजलि है।

कश्मीर, पूर्वोत्तर और नक्सलवाद पर तीखा रुख

प्रधानमंत्री ने भाषण में देश की सुरक्षा से जुड़ी चुनौतियों पर भी तीखा रुख अपनाया। उन्होंने कश्मीर के संदर्भ में कहा कि सरदार पटेल देश की संप्रभुता को सर्वोपरि रखते थे, जबकि उनके बाद के वर्षों में कुछ नीतियों ने इस संवेदनशीलता की अनदेखी की। मोदी ने कहा कि अलग संवैधानिक व्यवस्था और विशेष संकेतों ने देश को दशकों तक परेशान किया। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस की नीतियों के चलते कश्मीर का एक भाग पाकिस्तान के कब्जे में चला गया और युद्धोपरांत पनपे आतंकवाद ने देश को भारी कीमत चुकवाई। प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि देश ने अब निर्णायक संघर्ष का मार्ग चुना है और सीमाओं, सुरक्षा और सम्मान की रक्षा पर कोई समझौता बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। यह भी दोहराया कि “ये लौहपुरुष सरदार पटेल का भारत है, यह अपनी सुरक्षा और सम्मान से कभी समझौता नहीं करेगा।’’

राष्ट्र और नेतृत्व के लिए कॉल टू एक्शन

पीएम मोदी ने सार्वजनिक मंच से सरकारों, संस्थाओं और नागरिकों को आह्वान किया कि वे मिलकर देश की एकता, सीमाओं की रक्षा और सामाजिक समरसता को सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि एकता दिवस केवल स्मरण का अवसर नहीं, बल्कि एक संकल्प दिवस भी है। प्रत्येक नागरिक को उस संकल्प का पालन करना चाहिए जो सरदार पटेल ने राष्ट्र के लिए दिखाया। कार्यक्रम में उपस्थित नेताओं और आम जनता ने मोदी के भाषण पर जोरदार समर्थन और तालियों से समर्थन व्यक्त किया।

 

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