Independence Day 2025: पीएम मोदी ने 12वीं बार लाल किले पर फहराया झंडा, 21 तोपों की दी गई सलामी

खबर सार :-
Independence Day 2025: स्वतंत्रता दिवस 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली के लाल किले से राष्ट्रीय ध्वज फहराया और फिर देश को संबोधित किया। इस दौरान उन्होंने पहलगाम आतंकी हमले और ऑपरेशन सिंदूर का ज़िक्र करते हुए पाकिस्तान को कड़ी चेतावनी दी।

Independence Day 2025: पीएम मोदी ने 12वीं बार लाल किले पर फहराया झंडा, 21 तोपों की दी गई सलामी
खबर विस्तार : -

Independence Day 2025:  भारत आज आज़ादी का 79वां महापर्व उत्साह और गौरव के साथ मना रहा है। इस अवसर पर शुक्रवार को पीएम नरेंद्र मोदी (pm modi speech) ने लाल किले की प्राचीर से लाल किले की प्राचीर से 12वीं बार ध्वजारोहण किया। साथ देशवासियों को संबोधित करते हुए कहा कि यह दिन 140 करोड़ संकल्पों का महापर्व है। इस ऐतिहासिक अवसर पर प्रधानमंत्री के साथ वायुसेना की फ्लाइंग ऑफिसर रशिका शर्मा मौजूद थीं।

ध्वजारोहण के साथ ही 1721 फील्ड बैटरी (सेरेमोनियल) द्वारा 21 तोपों की सलामी दी गई। इस सलामी के लिए पूरी तरह से स्वदेशी 105 मिमी लाइट फील्ड गन का इस्तेमाल किया गया। बैटरी की कमान मेजर पवन सिंह शेखावत के पास थी, जबकि नायब सूबेदार अनुतोष सरकार गन पोज़िशन ऑफिसर की ज़िम्मेदारी निभा रहे थे।

Independence Day 2025: 140 करोड़ संकल्पों का महापर्व

देशवासियों को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, "आज़ादी का यह महापर्व 140 करोड़ संकल्पों का पर्व है। आज़ादी का यह पर्व सामूहिक उपलब्धियों और गौरव का पर्व है। मन उत्साह से भरा है। देश एकता की भावना को मज़बूत कर रहा है। 140 करोड़ देशवासी तिरंगे के रंग में रंगे हैं। हर घर तिरंगा है। भारत के हर कोने से, चाहे वह हिमालय हो या रेगिस्तान या समुद्र का किनारा, हर जगह एक ही गूंज है - अपनी मातृभूमि की जय-जयकार, जो हमारे प्राणों से भी प्यारी है।"

उन्होंने कहा कि 1947 में, अनंत संभावनाओं वाली लाखों भुजाओं की ताकत से देश आज़ाद हुआ था। देश की आकांक्षाएं ऊंची उड़ान भर रही थीं, लेकिन चुनौतियां उससे भी ज़्यादा थीं। पूज्य बापू के सिद्धांतों पर चलते हुए संविधान सभा के सदस्यों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। भारत का संविधान 78 वर्षों से प्रकाश स्तंभ की तरह राह दिखा रहा है। भारत के संविधान के निर्माता डॉ. राजेंद्र प्रसाद, बाबा साहेब अंबेडकर, पंडित नेहरू, सरदार वल्लभभाई पटेल, सर्वपल्ली राधाकृष्णन हैं। इतना ही नहीं, हमारी नारी शक्ति ने भी योगदान दिया। मैं इन सभी और संविधान निर्माताओं को नमन करता हूं। आज हम श्यामाप्रसाद मुखर्जी की 125वीं जयंती मना रहे हैं। वे भारत के संविधान के लिए अपना बलिदान देने वाले पहले व्यक्ति थे।

प्रधानमंत्री मोदी ने गांधीजी को श्रद्धांजलि दी

समारोह से पहले, प्रधानमंत्री मोदी ने राजघाट जाकर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी। इसके बाद उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। प्रधानमंत्री ने परेड का निरीक्षण भी किया। ध्वजारोहण से पहले, प्रधानमंत्री मोदी ने रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और थल, जल और वायु सेना प्रमुखों से मुलाकात की। लाल किले पर तिरंगा फहराते ही पूरे देश में देशभक्ति का माहौल गहरा गया। अपने संबोधन में प्रधानमंत्री ने स्वतंत्रता सेनानियों, सैनिकों और देशवासियों के योगदान को याद किया और भारत के भविष्य के लिए अपना दृष्टिकोण साझा किया।

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