Goa Stampede: गोवा के शिरगांव में शनिवार को प्रसिद्ध धार्मिक श्री लैराई 'जात्रा' (lairai jatra) के दौरान भगदड़ मच गई। इस हादसे में छह लोगों की मौत हो गई। जबकि भगदड़ के दौरान कुचले जाने से करीब 80 से अधिक लोग घायल हो गए। इस हादसे पर गोवा के CM डॉ. प्रमोद सावंत (CM Dr. Pramod Sawant) ने दुख जताया है। साथ ही उन्होंने ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बात कर इस कठिन समय में अपना पूरा समर्थन देने की बात कही।
मिली जानकारी के मुताबिक यह घटना श्रीगांव के लैराई देवी मंदिर में हुई। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, लैराई जात्रा (lairai jatra) में भाग लेने के लिए उत्सुक लोग अचानक नियंत्रण से बाहर हो गए। इससे अफरा-तफरी मच गई। कई श्रद्धालु एक-दूसरे पर गिर पड़े और स्थिति बेकाबू हो गई। सूचना मिलते ही स्थानीय पुलिस और आपदा प्रबंधन दल मौके पर पहुंच गए। घायलों को उत्तरी गोवा के मापुसा स्थित गोवा मेडिकल कॉलेज और जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है। इस हादसे में छह लोगों की मौत हो गई। जबकि भगदड़ के दौरान कुचले जाने से करीब 80 से अधिक लोग घायल हो गए।
वहीं मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने अस्पताल जाकर घायलों की स्थिति का जायजा लिया और उनके इलाज का पूरा खर्च उठाने की घोषणा की। गोवा के सीएम ने अपने एक्स पर लिखा, "आज सुबह शिरगांव में लेराई यात्रा के दौरान हुई भगदड़ बेहद दुखद है। मैं घायलों से मिलने अस्पताल गया और प्रभावित परिवारों को हरसंभव मदद का आश्वासन दिया है। मैं व्यक्तिगत रूप से स्थिति की निगरानी कर रहा हूं ताकि यह सुनिश्चित हो सके कि सभी आवश्यक उपाय किए जा रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मुझसे बात की और स्थिति की विस्तृत समीक्षा की और इस कठिन समय में अपना पूरा समर्थन देने की पेशकश की।"
गौरतलब है कि लैराई देवी एक पूजनीय हिंदू देवी हैं, जिनकी पूजा मुख्य रूप से गोवा में, खासकर दक्षिण गोवा के शिरोडा गांव में की जाती है। लैराई देवी को समर्पित मंदिर स्थानीय लोगों और आस-पास के इलाकों से आने वाले भक्तों के लिए एक महत्वपूर्ण आध्यात्मिक केंद्र है।
लैराई देवी 'जात्रा' (lairai jatra) जिसे शिरगांव 'जात्रा' के नाम से भी जाना जाता है, गोवा का एक प्रमुख धार्मिक और सांस्कृतिक त्योहार है, जिसे हर साल बिचोलिम तालुका के शिरगांव गांव में लैराई देवी के सम्मान में मनाया जाता है। यह जात्रा हिंदू कैलेंडर के अनुसार चैत्र महीने (मार्च-अप्रैल) में होती है और कई दिनों तक चलती है। इस त्योहार की सबसे प्रमुख विशेषता अग्नि पर चलने की परंपरा है, जिसमें "धोंड" नामक भक्त जलते हुए अंगारों पर नंगे पैर चलते हैं। यह अनुष्ठान उनकी आस्था और आध्यात्मिक शुद्धता का प्रतीक है।
अन्य प्रमुख खबरें
Delhi Pollution: दिल्ली-NCR की दमघोंटू हवा में सांस लेना हुआ दुश्वार, 400 से कम नहीं हो रहा AQI
आतंकी मॉड्यूल की जांच में CIK की एक साथ कई ठिकानों पर छापेमारी, मचा हड़कंप
Delhi Blast: अल-फलाह यूनिवर्सिटी पर ईडी का बड़ा एक्शन, 25 ठिकानों पर की छापेमारी
जिला कलेक्टर ने दिए आवश्यक निर्देश, सड़क दुर्घटनाओं को रोकने का करें प्रयास
पत्नी को गोली मारकर पति ने खुद की आत्महत्या, भतीजे से अवैध संबंध का था शक
Bihar Election 2025 : तेजस्वी यादव राघोपुर से जीते नहीं, जिताए गए? जिससे ज्यादा शोर न मचे
Red Fort blast: एनआईए ने उमर नबी के सहयोगी अमीर राशिद अली को किया गिरफ्तार
अयोध्या में होगा भव्य ध्वजारोहण कार्यक्रम, देश-विदेश और बॉलीवुड की हस्तियों को भेजा आमंत्रण
खालिस्तानी संगठन ने ली संघ कार्यकर्ता की हत्या की जिम्मेदारी, सोशल मीडिया पर की ये पोस्ट
Punjab: हथियार व नार्को नेटवर्क का पर्दाफाश, बंदूकों के साथ पांच गिरफ्तार
डायबिटीज है साइलेंट किलर, नियमित जीवन शैली से हो सकता है बचावः डॉ. मांडवी अग्रवाल
Bihar Election Result 2025: एनडीए भारी जीत की ओर अग्रसर, सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी बीजेपी