नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने राजधानी में सक्रिय और कुख्यात ड्रग तस्करों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। 'नशा मुक्त भारत' अभियान के तहत पुलिस अब पीआईटी-एनडीपीएस एक्ट के तहत इन तस्करों के खिलाफ सख्त कार्रवाई कर रही है। इस कानून के तहत आरोपियों को बिना किसी ट्रायल के एक साल तक जेल में रखा जा सकता है, जिससे नशे के कारोबार में संलिप्त अपराधियों के खिलाफ प्रभावी कदम उठाए जा रहे हैं।
पुलिस अधिकारियों के अनुसार, कुसुम (40) नामक महिला तस्कर की गिरफ्तारी को लेकर विशेष ध्यान दिया गया है। कुसुम के खिलाफ वित्तीय जांच में 5 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की गई है, जो नशे के कारोबार से अर्जित की गई थी। यह संपत्तियां सुल्तानपुरी (उत्तर-पश्चिम दिल्ली) और रोहिणी के सेक्टर-24 में स्थित हैं। पुलिस के मुताबिक, कुसुम का नेटवर्क काफी बड़ा था और वह लंबे समय से नशे के कारोबार में शामिल थी। इस एक्ट के तहत कार्रवाई 2021 से शुरू की गई थी और यह विशेष रूप से उन मामलों में लागू होता है जहां आरोपी बार-बार नशा तस्करी में संलिप्त पाया जाता है। पीआईटी-एनडीपीएस एक्ट के तहत आरोपी के खिलाफ सबूत जुटाने के बाद नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) की स्क्रीनिंग कमेटी को मामले की जांच में शामिल किया जाता है। भारत सरकार की मंजूरी के बाद आरोपी को बिना किसी ट्रायल के जेल भेजा जा सकता है।
पुलिस ने बताया कि इस साल अब तक चार ड्रग तस्करों के खिलाफ पीआईटी-एनडीपीएस एक्ट के तहत कार्रवाई की जा चुकी है, जिनमें से तीन पर पहले ही जेल भेजा जा चुका है। पुलिस अब 35 और तस्करों को इस एक्ट के तहत हिरासत में लेने की तैयारी कर रही है। पिछले चार वर्षों में केवल 28 तस्करों को इस एक्ट के तहत हिरासत में लिया गया था, लेकिन इस साल यह संख्या दोगुनी हो सकती है। पुलिस का उद्देश्य केवल तस्करों को पकड़ना नहीं है, बल्कि उनके पूरे नेटवर्क को तोड़ना भी है। एक मामले में, बरेली के एक ड्रग तस्कर को कई बार हेरोइन के साथ पकड़ा गया था। बाद में पुलिस ने उसे चेन्नई की जेल में भेज दिया, ताकि वह अपने साथियों से संपर्क न कर सके और उसका नेटवर्क बिखर जाए।
दिल्ली पुलिस के सूत्रों के अनुसार, सभी जिलों की पुलिस उन नशा तस्करों की लिस्ट तैयार कर रही है, जिनके खिलाफ दो या उससे अधिक मामले दर्ज हैं। पुलिस का मानना है कि इस सख्त कार्रवाई से न केवल तस्करों की धरपकड़ होगी, बल्कि नशे के कारोबार को फैलने से भी रोका जा सकेगा। इस कदम से दिल्ली पुलिस का संदेश साफ है: नशा तस्करों के खिलाफ सख्त कार्रवाई जारी रहेगी, और नशे के कारोबार के खिलाफ एकजुट होकर कड़ी लड़ाई लड़ी जाएगी।
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